सौरभ शर्मा कांड से संदेह घेरे में घिरी लोकायुक्त पुलिस के मुखिया पर अब गाज गिरी, इंटेलीजेंस चीफ की कमान साईं मनोहर को

मध्य प्रदेश की मोहन सरकार ने पुलिस के 15 आला अफसरों के तबादला आदेश जारी कर अपनी धमक दिखाने की कोशिश की है। परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा कांड से जिस तरह लोकायुक्त पुलिस की छवि पर दाग लगे थे, अब उसके चीफ को हटाकर सरकार ने जीरो टॉलरेंस के संकेत दिए हैं तो शिवराज सरकार के समय से खेल संचालक पद पर जमे रवि गुप्ता को हटाकर अपने विश्वस्त अधिकारी की पदस्थापना की है। मऊगंज की घटना के बाद डीआईजी को हटाया दिया गया है। इंटेलीजेंस चीफ की कुर्सी से दिल्ली के मध्य प्रदेश भवन से कुछ दिन पहले ही लौटे ए साईं मनोहर को नवाजा गया है। जानिये भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारियों की पदस्थापना और उसके पीछे के घटनाक्रम को।

मध्य प्रदेश की मोहन सरकार ने पुलिस के 15 आला अफसरों के तबादला आदेश जारी कर अपनी धमक दिखाने की कोशिश की है। परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा कांड से जिस तरह लोकायुक्त पुलिस की छवि पर दाग लगे थे, अब उसके चीफ को हटाकर सरकार ने जीरो टॉलरेंस के संकेत दिए हैं तो शिवराज सरकार के समय से खेल संचालक पद पर जमे रवि गुप्ता को हटाकर अपने विश्वस्त अधिकारी की पदस्थापना की है। मऊगंज की घटना के बाद डीआईजी को हटाया दिया गया है। इंटेलीजेंस चीफ की कुर्सी से दिल्ली के मध्य प्रदेश भवन से कुछ दिन पहले ही लौटे ए साईं मनोहर को नवाजा गया है। जानिये भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारियों की पदस्थापना और उसके पीछे के घटनाक्रम को।
मध्य प्रदेश पुलिस को लेकर पिछले कुछ समय से काफी नकारात्मक चर्चाएं सामने आ रही थीं जिसमें विंध्य के नए जिले मऊगंज की घटना ने पुलिस के टूटते मनोबल का सबसे बड़ा उदाहरण पेश किया है। मऊगंज की घटना ने एक सहायक उप निरीक्षक को शहीद बना दिया और एसपी को उसी समय हटा दिया गया मगर अब डीआईजी साकेत प्रकाश पांडे को हटाकर सरकार ने जीरो टॉलरेंस की नीति पर सख्ती से चलने के संकेत दिए हैं।
लोकायुक्त पुलिस के दाग साफ करने की कोशिश
सरकार ने सौरभ शर्मा कांड में जिस तरह लोकायुक्त पुलिस के छापे से लेकर जांच तक पर दाग लगे थे उसे साफ करने की कोशिश की है। जयदीप प्रसाद से लोकायुक्त पुलिस की कमान लेते हुए अब इसकी जिम्मेदारी इंटेलीजैंस चीफ रहे योगेश देशमुख को सौंपी गई है। गौरतलब है कि सौरभ शर्मा कांड में लोकायुक्त पुलिस के छापे के दौरान सोने के बिस्किट और नकदी राशि से भरी गाड़ी घटनास्थल से निकल जाने के आरोप लगे थे तो इसके साथ ही छापे की कलई ईडी के कुछ दिन बाद मारे गए छापे में कई करोड़ रुपए के दस्तावेज व अन्य कीमती चीजें फिर मिलीं।
खेल विभाग में सालों से पदस्थ गुप्ता
इन सब चर्चाओं के बीच पुलिस के आला अधिकारियों के सालों से एक ही पद पर जमे होने से भी कामकाज का रवैया स्थिर जैसा हो गया था। एससीआरबी हो या पुलिस फायर सर्विस या फिर खेल संचालक, यह वह पदस्थापनाएं रहीं जहां आला अधिकारियों को तीन से लेकर साढ़े तीन साल तक हो गए थे। एससीआरबी में चंचल शेखर को 21 फरवरी 2021 में शासन ने पदस्थ किया था तो पुलिस फायर सर्विस में आशुतोष राय को 15 जून 2022 को राज्य शासन ने पदस्थ किया और रवि कुमार गुप्ता की खेल संचालक के रूप में राज्य शासन ने 21 सितंबर 2021 को पदस्थापना के बाद पलटकर भी नहीं देखा कि वे अच्छा काम कर रहे हैं या नहीं। इनकी पदस्थापना से कहीं खेल विभाग में स्थिरता तो नही आ गई।

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