मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस में टिकट फाइनल करने वाली स्क्रीनिंग कमेटी के चेयरमेन राजस्थान के अलवर के शाही परिवार के सदस्य और पूर्व खेल राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह बनाए गए हैं। कमेटी में उनके साथ दो अन्य सदस्यों के अलावा मध्य प्रदेश के प्रतिनिधियों के रूप में एक आश्चर्यजनक चेहरा पूर्व मंत्री व विंध्य से आने वाले कमलेश्वर पटेल है। पढ़िये रिपोर्ट।
विधानसभा चुनाव के लिए अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी ने स्क्रीनिंग कमेटी का आज रात को आदेश जारी किया जिसमें मध्य प्रदेश के लिए राजस्थान के कांग्रेस नेता जितेंद्र सिंह की अध्यक्षता में कमेटी बनाई है। पूर्व केंद्रीय खेल राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह के दो अन्य साथी उत्तरप्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू और उड़ीसा के लोकसभा सदस्य सप्तगिरी उलका हैं। लल्लू मप्र में 2018 के विधानसभा चुनाव में भी स्क्रीनिंग कमेटी के सदस्य थे । इनके अलावा प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ, नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह, एआईसीसी के महासचिव व प्रदेश प्रभारी जयप्रकाश अग्रवाल, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया, कमलेश्वर पटेल और एआईसीसी के सभी प्रभारी सचिवों को भी इसमें शामिल किया गया है।
स्क्रीनिंग कमेटी से प्रमुख नेता गायब
स्क्रीनिंग कमेटी में कुछ चेहरों की गैर मौजूदगी चौंकाने वाली है। पूर्व केंद्रीय मंत्री सुरेश पचौरी व अरुण यादव, पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह व पूर्व विधानसभा उपाध्यक्ष राजेंद्र सिंह, पूर्व मंत्री व एआईसीसी के सचिव उमंग सिंगार और एआईसीसी सचिव नीलांशु चतुर्वेदी, सत्यनारायण पटेल के नाम कमेटी में नहीं हैं लेकिन पूर्व मंत्री कमलेश्वर पटेल का नाम कमेटी के एक्स ऑफिसियो मेम्बर के रूप में शामिल किया गया है। हालांकि पटेल को राहुल गांधी की टीम का मेम्बर बताया जाता है मगर नीलांशु-उमंग भी उसी टीम के हिस्से हैं। महेंद्र जोशी को एक कमेटी ले लिए जाने के वजह से स्क्रीनिंग कमेटी से अलग रखा गया है।
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