CM ने कहा कि लाड़ली बहना योजना का उद्देश्य बहनों को मजबूर नहीं मजबूत बनाना

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विकास पर्व में नर्मदापुरम जिले के बनखेड़ी में दूधी सिंचाई परियोजना के भूमिपूजन के दौरान कहा कि लाड़ली बहना योजना प्रदेश की 21 साल से ज्यादा उम्र की बहनों को मजबूत बनाया जा रहा है, न कि मजबूर बनाया जा रहा है। सरकार बहनों की जिंदगी बनाने के लिए काम कर रही है। पढ़िये रिपोर्ट।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि किसानों के कल्याण में मैं कोई कसर नहीं छोडूंगा। दूधी सिंचाई परियोजना से किसानों की समृद्धि के द्वार खुलेंगे। लाड़ली बहनों को मजबूर नहीं मजबूत बनाया जा रहा हैं। मेरा बनखेड़ी से पुराना नाता है। मैं बचपन से ही यहाँ आता रहा हूँ। मैंने वादा किया था कि दूधी नदी पर बाँध बनाया जाएगा, वह आज पूरा हो रहा है। मुझे बनखेड़ी क्षेत्र का बहुत प्यार मिला है। आज मैं वही कर्जा चुकाने आया हूँ। दूधी नदी पर 2631 करोड़ से बाँध बनेगा, जिससे इस क्षेत्र के खेतों को पानी मिलेगा और किसानों के घर में खुशहाली आएगी। दूधी नदी पर बाँध तो बनेगा ही, डोकरीखेड़ा डेम भी बनाया जाएगा। बनखेड़ी के दो मुख्य मार्ग भी उच्च गुणवत्ता के बनाये जायेंगे। क्षेत्र के विकास के लिए हर संभव प्रयास किए जाएंगे। पिपरिया बस स्टेंड का भी निर्माण किया जाएगा।

मुख्यमंत्री चौहान ने बनखेड़ी नर्मदापुरम में 2631 करोड़ 74 लाख लागत की दूधी सिंचाई परियोजना का भूमि-पूजन किया। परियोजना से एक लाख 36 हजार एकड़ से अधिक क्षेत्र में सिंचाई होगी। चौहान ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा विकास के कार्य निरंतर किए जा रहे हैं। सड़कों का जाल बिछाया गया है। पूर्व में किसानों को साल में एक फसल लेना मुश्किल होता था। अब दो ही नहीं तीन फसल ली जा रही हैं। मूंग की तीसरी फसल की खरीदी भी सरकार द्वारा की जा रही है। किसानों की समृद्धि के लिए हर कदम उठाये जा रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार द्वारा बहनों की जिंदगी बनाने का कार्य किया जा रहा है। बहनों को मजबूर नहीं मजबूत बनाया जा रहा है। पहले बेटा-बेटी में फर्क किया जाता था। मैंने मुख्यमंत्री बनने के बाद लाड़ली लक्ष्मी योजना और कन्या विवाह/निकाह योजना बनाई। लाड़ली बहना योजना में प्रति माह 1000 रूपये बहनों के खाते में पहुँच रहे हैं। आने वाले समय में यह राशि 3000 रूपये महीने तक हो जाएगी। बहनों के लिए सम्पत्ति की रजिस्ट्री में स्टाम्प शुल्क 1% है। पंचायत एवं नगरीय निकाय चुनावों में बहनों की हिस्सेदारी बढ़ रही है। इतना ही नहीं स्व-सहायता समूह के माध्यम से महिलाओं को मजबूत किया जाएगा। बहन-बेटी इज्जत के साथ जिये, इसका ध्यान रखा जा रहा है। शराब के अहाते बंद कराए गए हैं। जो बहनों पर अत्याचार करेंगे, उन दुष्टों को कठोर दंड देंगे। अत्याचारियों के घरों पर बुलडोजर चलाए जाएंगे। प्रदेश में दुराचारियों को फाँसी का प्रावधान किया गया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों के हित में सरकार कोई कसर नहीं छोड़ रही है। किसान सम्मान निधि की राशि अब 12 हजार की गई है। केंद्र और राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही विभिन्न जन-कल्याणकारी योजनाओं से हितग्राही लाभान्वित हो रहे हैं। प्रधानमंत्री आवास योजना, मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना और मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना जैसी अनेक योजनाओं का लाभ हितग्राहियों को मिल रहा है। मेधावी विद्यार्थियों को लैपटॉप के लिए 25 हजार की राशि दी गई है। अब विद्यार्थियों को साईकिल की राशि भी अंतरित की जाएगी। स्कूल में पहले नंबर पर आने वाले विद्यार्थियों को स्कूटी दी जाएगी। मेधावी विद्यार्थी योजना में उच्च शिक्षा की फीस भी सरकार भरेगी। बुजुर्गों को तीर्थ-दर्शन योजना में हवाई जहाज से तीर्थ-दर्शन कराया जा रहा है।

सांसद राव उदय प्रताप सिंह ने कहा कि दूधी नदी पर बाँध से क्षेत्र में समृद्धि आएगी। क्षेत्र के करीब 50-60 गाँवों को डोकरीखेड़ा बाँध बनाए जाने से बहुत लाभ होगा। विधायक ठाकुरदास नागवंशी ने कहा कि दूधी परियोजना के बनने से इस क्षेत्र में समृद्धि आएगी। मुख्यमंत्री चौहान द्वारा प्रदेश के साथ बनखेड़ी क्षेत्र के विकास के लिए भी निरंतर कार्य किए जा रहे हैं। कार्यक्रम में लाड़ली बहनों ने मुख्यमंत्री श्री चौहान को राखी बाँधी। शासकीय योजनाओं के हितग्राहियों को हितलाभ का वितरण किया गया। मुख्यमंत्री ने बहनों को सम्मानित भी किया।

सांसद राव उदयप्रताप सिंह, विधायक ठाकुर दास नागवंशी, विधायक विजयपाल सिंह, दर्शन सिंह चौधरी, माधवदास अग्रवाल, हरिशंकर जायसवाल, संपत मूदडा, अन्य जन-प्रतिनिधि और बड़ी संख्या में जन-समुदाय उपस्थित था।

दूधी परियोजना

नर्मदापुरम जिले की बरखेड़ी तहसील के ग्राम धड़ाव पड़ाव के समीप निर्मित होने वाली दूधी सिंचाई परियोजना किसानों की समृद्धि का द्वार खोलेगी। दूधी नदी पर 162 मीटर लम्बाई एवं 38 मीटर ऊँचाई के बाँध का निर्माण कराया जायेगा। इस निर्मित जलाशय से 55 हजार 410 हेक्टेयर अर्थात एक लाख 36 हजार 921 एकड़ क्षेत्र में सिंचाई सुविधा उपलब्ध होगी। परियोजना के निर्माण के लिये 2631 करोड़ 74 लाख रूपये की प्रशासकीय स्वीकृति दी गई है। परियोजना के निर्माण से नर्मदापुरम जिले के 92 ग्रामों की 30 हजार 410 हेक्टेयर भूमि एवं छिंदवाड़ा जिले के 113 ग्रामों की 25 हजार हेक्टेयर भूमि क्षेत्रफल में भूमिगत पाइप प्रणाली से 2.50 हेक्टेयर तक पानी उपलब्ध होगा, जिससे किसानों द्वारा स्प्रिंकलर/ड्रिप लगा कर सिंचाई की जा सकेगी। भूमिगत पाइप लाइन प्रणाली बनाये जाने से नहर के लिये स्थाई भू-अर्जन नहीं होगा। स्थाई भू-अर्जन बाँध, पम्प हाउस के लिये किया जायेगा। इस पद्धति से सिंचाई होने पर किसानों को खेत समतल करने की आवश्यकता नहीं होगी। कम पानी में अधिक उपयोगी सिंचाई प्रणाली का लाभ मिल सकेगा।

भूमिगत सिंचाई प्रणाली की प्रमुख विशेषताएँ

परम्परागत रूप से खुली नहर प्रणाली में प्रत्येक 40 हेक्टेयर में जल उपलब्ध कराया जाता है। यहाँ से किसान को अपने-अपने खेतों तक जल ले जाने की व्यवस्था की जाती है। इससे भूमि का समतलीकरण और खेत के अंदर बहाव प्रणाली का निर्माण करना होता है। परियोजना की विशेषता यह है कि इसमें भूमिगत पाइप नहर वितरण प्रणाली से प्रत्येक 2.5 हेक्टेयर तक के भूमि क्षेत्र पर एक आउटलेट दिया जायेगा। इस आउटलेट पर पर्याप्त दबाव से जल मिलेगा। कृषक फव्वारा पद्धति (स्प्रिंकलर) अथवा टपक पद्धति (ड्रिप) का उपयोग सिंचाई के लिये कर सकेंगे।

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