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राजनीतिक गलियारों में भाजपा की आज की एक तस्वीर चर्चा में, सत्ता-संगठन की मुस्कान
मध्य प्रदेश में चुनाव साल चल रहा है और इस समय राजनीतिक उथल-पुथल की शंका-कुशंकाएं चर्चा में हैं। कांग्रेस हो या भाजपा, दोनों ही दलों में असंतुष्ट नेताओं कई तरह की चर्चाओं को जोर देते रहते हैं और ऐसे समय में उनकी सक्रियता बढ़ जाती है। प्रदेश के भाजपा के दो प्रमुख नेताओं की एक तस्वीर आज चर्चा में आ गई है जिसमें सत्ता-संगठन की मुस्कान दिखाई दे रही है। पढ़िये राजनीतिक गलियारों की चुनाव वर्ष की प्रमुख चर्चाएं क्या रहीं और चल रही हैं।
विधानसभा चुनाव 2023 में अब सरकार को वास्तव में केवल आधा साल है और ऐसे समय भाजपा जहां सत्ता-संगठन के बीच समन्वय के संदेश को देने में लगी है तो कांग्रेस अपने नेताओं के बीच समन्वय को दिखाने में जुटी है। भाजपा का एक फोटो आज सुबह से चर्चा में है जिसमें मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा विमान में मुस्कुराहट के साथ गले मिलते दिखाई दे रहे हैं। यह तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। इस फोटो के पीछे इस भ्रम को दूर करने की कोशिश की जा रही है कि प्रदेश में दोनों के बीच समन्वय है और उनके नेतृत्व में ही विधानसभा चुनाव में भाजपा उतरेगी।
गुजरात में चुनाव पूर्व सत्ता-संगठन में बदलाव का मॉडल चर्चा में रहा
मगर वहीं, दूसरी तरफ इस तस्वीर का दूसरा पहलु यह भी बताया जा रहा है कि कुछ समय से गुजरात मॉडल काफी चर्चा में आ रहा है। गुजरात विधानसभा चुनाव में भाजपा की जीत और उसके पहले वहां सत्ता व संगठन में किए गए बदलाव को आदर्श माने जाने की चर्चा शुरू हुई। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में भी इस मॉडल को लागू करने की चर्चा तेज हुई थी और कुछ समय से यह ठंड पड़ गई है लेकिन आज की इस तस्वीर को लेकर भाजपा के कुछ नेता यह कहते हैं कि कहीं न कहीं शीर्ष नेतृत्व में विधानसभा चुनाव 2023 को लेकर चिंता है।
कांग्रेस में भी सीएम चेहरा, संगठन के नेतृत्व पर चर्चाएं
ऐसा नहीं है कि विधानसभा चुनाव 2023 को लेकर भाजपा नेताओं में ही असमंजस की स्थिति है। कांग्रेस में भी वही परिस्थितियां हैं और नेताओं को संगठन में उथल-पुथल की सुगबुगाहट है। नेता प्रतिपक्ष के रूप में कमलनाथ द्वारा डॉ. गोविंद सिंह को जिम्मेदारी सौंपे जाने और फिर प्रदेश प्रभारी जयप्रकाश अग्रवाल के कार्यभार लेने के बाद कार्यकारिणी व जिला अध्यक्षों में बदलाव से चुनाव पूर्व संगठन के नेतृत्व परिवर्तन की चर्चा तेज हुई है। मुख्यमंत्री चेहरा और प्रदेश कांग्रेस नेतृत्व के लिए दो अलग-अलग नेताओं को जिम्मेदारी दिए जाने की चर्चा भोपाल से प्रदेशभर और दिल्ली तक में है।
नए गुटीय समीकरण की चर्चा से बदलाव की सुगबुगाहट
कांग्रेस में नया गुटीय समीकरण सामने नजर आने लगा है जिसमें कमलनाथ-सुरेश पचौरी और इन दोनों नेताओं को छोड़कर अन्य ने हाथ मिला लिया है। राजनीतिक गलियारों में इस नए समीकरण की चर्चा जोरों पर है जिसका जल्द ही विधानसभा चुनाव के लिए बनाई जाने वाली विभिन्न समितियों में प्रतिबिंब दिखाई दे सकता है। चुनाव के लिए टिकट नहीं मिलने पर असंतुष्ट होने वाले नेताओं को मानने के लिए समन्वय समिति, चुनाव अभियान समिति की जिम्मेदारी कमलनाथ-पचौरी से हटकर अन्य नेताओं को मिल सकती है। इसी तरह पीसीसी अध्यक्ष भी किसी युवा चेहरे को देकर सीएम चेहरा कमलनाथ को घोषित किया जा सकता है। वैसे कमलनाथ समर्थकों ने जनवरी 2023 के पूर्वार्ध में ही नए साल की शुभकामना संदेश देने वाले होर्डिंग-पोस्टर में कमलनाथ को मुख्यमंत्री के रूप में पेश कर दिया है।
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