मध्य प्रदेश पुलिस के वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी 1989 बैच के गाजीराम मीणा ने रिटायरमेंट के पहले महानिदेशक पद पर प्रमोशन की कोशिश की थी लेकिन दो साल के लिए दो अतिरिक्त महानिदेशक पद बनाने के उनकी मांग को नहीं माना गया। अब वे इस महीने अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक के रूप में ही रिटायर हो जाएंगे। उन्होंने अपने सपने को पूरा करने के लिए मुख्यमंत्री से लेकर सरकार के कई स्तर पर प्रयास किए लेकिन कहीं उनकी बात को विशेष तवज्जोह नहीं मिली।
1989 बैच के आईपीएस में आठ अधिकारी हैं जिनमें से चार अधिकारी ही अभी डीजी पद पा सके हैं। इस बैच के अधिकारियों में से तीन मुकेश जैन, सुशोभन बनर्जी और गाजीराम मीणा दिसंबर 2022 से जुलाई 2023 में रिटायर हो जाएंगे। दिसंबर में रिटायर हो रहे गाजीराम मीणा हाल ही में डीजी पद पाने वाले संजय झा व गोविंद प्रताप सिंह के बाद बैच में तीसरे क्रम पर हैं। वे चाहते थे कि राज्य सरकार दो साल के लिए डीजी के चार पद सृजित करके उन्हें व राजेश चावला को डीजी बना दे। उनका तर्क था कि राज्य सरकार दो साल के लिए पद बना सकती है और उसके लिए केंद्र से अनुमति लेने की आवश्यकता नहीं होती। दो 2023 में अधिकारियों के रिटायरमेंट के बाद वापस आज की स्थिति बन जाती लेकिन वरिष्ठ पदों की पहले से ही संख्या ज्यादा होने की वजह से सरकार ने उनकी मांग को नहीं माना।
सीएम से मिले-पत्र लिखा, नहीं हुआ मन का
गाजीराम मीणा ने डीजी के रूप में रिटायर होने के अपने सपने को पूरा करने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात की थी। साथ ही पत्र लिखकर डीजी बनाने के पूरे गणित को समझाया भी था लेकिन सरकार में बैठे अधिकारियों ने इसमें वरिष्ठ पदों की संख्या ज्यादा होने का कारण बताकर उनके प्रस्ताव पर अमल नहीं होने दिया।
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