सरदार सरोवर परियोजना मप्र ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन किया

केन्द्रीय पंचायत राज एवं ग्रामीण विकास मंत्री श्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने आज लोकसभा में सरदार सरोवर के मुद्दे पर कहा कि मध्यप्रदेश सरकार सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन अक्षरश: पालन कर रही है। श्री तोमर ने कहा कि मध्यप्रदेश सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के 31 जुलाई तक डूब क्षेत्र को खाली करवाने के निर्देश के पालन में उससे जो अपेक्षित था, वह सब करने का सुनिश्चित किया है।

श्री तोमर ने कहा कि मैं श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया सहित कांग्रेस के अन्य नेताओं से पूछना चाहता हूँ कि वे इस मामले में गुजरात और राजस्थान कांग्रेस का मत पूछें। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश कांग्रेस कहे कि मध्यप्रदेश के लोगों को बिजली चाहिए या नहीं चाहिए। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के लोग गुजरात में पानी देने और राजस्थान में सिंचाई का तथा मध्यप्रदेश में बिजली की उपलब्धता का विरोध कर रहे हैं। केन्द्रीय मंत्री श्री तोमर ने कहा कि कांग्रेस के लोग इस परियोजना में बाधा उत्पन्न कर रहे हैं। यह विषय आज का नहीं है। उन्‍होंने कहा कि यह परियोजना पं. नेहरू के समय से चल रही है और अब इसका पूरा होने का समय आ गया है। परियोजना का लाभ गुजरात, राजस्थान और मध्यप्रदेश को मिल रहा है।

श्री तोमर ने कहा कि मध्यप्रदेश की धरती पर किसी भी गरीब और किसान के साथ भारतीय जनता पार्टी की सरकार होते हुए अन्याय नहीं होने दिया जायेगा। श्री तोमर ने कहा कि सरदार सरोवर बाँध का विषय काफी पुराना है। परियोजना के क्रियान्वयन के दौरान कांग्रेस की सरकारें भी रही हैं और यह विषय उनके सामने भी रहा है।

केन्द्रीय मंत्री श्री तोमर ने कहा कि वह कांग्रेस के मित्रों को यह बताना चाहते हैं मध्यप्रदेश में सरदार सरोवर के कारण डूब क्षेत्र में आने वाले व्यक्तियों के लिये जो व्यवस्था अपेक्षित थी, उसे करने का पूरा प्रयत्न किया गया है और सारी व्यवस्थाएँ कर दी गई हैं।

उल्लेखनीय है कि सरदार सरोवर परियोजना की कुल सिंचाई क्षमता 21 लाख 8 हजार हेक्टेयर है। इसमें से 18 लाख 62 हजार हेक्टेयर सिंचाई क्षमता का लाभ गुजरात राज्य को मिलेगा। परियोजना की कुल विद्युत उत्पादन क्षमता 1450 मेगावाट है। नर्मदा जल विवाद न्यायाधिकरण के अवार्ड के अनुसार गुजरात का  इस क्षमता के 16 प्रतिशत अर्थात 232 मेगावाट पर अधिकार है। गुजरात को इस परियोजना से पेयजल का लाभ प्राप्त होता है। गुजरात को नर्मदा नहर से वर्ष 2007-08 से 4007.5 एमसीएम पानी उपयोग के लिये दिया जा रहा है। इससे वहाँ के 1907 गाँव और 54 शहरी क्षेत्रों को भी पेयजल सुलभ हो रहा है। गुजरात सरकार ने 1307.5 मिलियन घन मीटर पानी राज्य के 131 शहरों 9 हजार 633 गाँव पेयजल नगरीय औद्योगिक उपयोग के लिये आवंटित किया है।

परियोजना की मुख्य नहर से राजस्थान में बनी 74 किलोमीटर नहर में जलप्रदाय किया जाता है। उपलब्ध जल से राजस्थान 2 लाख 46 हजार हेक्टेयर में सिंचाई क्षमता निर्मित होगी, जिसका लाभ बाडमेर और जालोर जिलों को मिलेगा। सिंचाई के साथ ही इन दोनों जिलों के 1336 गाँव और 3 शहरों की कुल 15 लाख आबादी को पीने का पानी मिल रहा है। परियोजना से राजस्थान को बिजली का कोई लाभ नहीं है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Khabar News | MP Breaking News | MP Khel Samachar | Latest News in Hindi Bhopal | Bhopal News In Hindi | Bhopal News Headlines | Bhopal Breaking News | Bhopal Khel Samachar | MP News Today