शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती के देवलोकगमन के बाद आज उनके उत्तराधिकारियों की घोषणा कर दी गई। स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती और स्वामी सदानंद सरस्वती को शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वतीजी का उत्तराधिकारी बनाया गया है। स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ज्योतिषपीठ बद्रीनाथ और स्वामी सदानंद सरस्वती द्वारका शारदा पीठ के उत्तराधिकारी होंगे।
स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ में जन्मे हैं और जन्म का नाम उमाकांत पांडे रहा था। बनारस हिंदू विश्वविद्यालय से शिक्षा हासिल करने के बाद वे शंकराचार्य जी के आश्रम से जुड़े और ब्रह्मचारी दीक्षा ली। इनका नाम ब्रह्मचारी आनंद स्वरूप हुआ और फिर बनारस में शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती की दंडी दीक्षा ग्रहण करने के उपरांत उन्हें दंडी स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद नाम मिला।
द्वारका शारदा पीठ के उत्तराधिकारी बनाए गए स्वामी सदानंद सरस्वती नरसिंहपुर जिले में ही बरगी में जन्मे हैं। उनका जन्म का नाम रमेश अवस्थी था और वे जब 18 साल के थे तब ही शंकराचार्य आश्रम आ गए थे। ब्रह्मचारी दीक्षा के साथ उनका नाम ब्रह्मचारी सदानंद हो गया और फिर बनारस में शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती से दंडी दीक्षा लेने के बाद वे दंडी स्वामी सदानंद के नाम से जाने जाने लगे। वे गुजरात के द्वारका शारदा पीठ में शंकराचार्य के प्रतिनिधि हैं।
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