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पाँच देश और पाँच प्रांत की रामलीला का मंचन 16 अक्टूबर से मंचन

भोपाल के रवींद्र भवन में श्रीलंका, मलेशिया, थाईलैंड, त्रिनिदाद और फिजी देशों सहित पांच राज्यों के कलाकारों द्वारा 16 अक्टूबर से 22 अक्टूबर सात दिन तक रामलीला का मंचन किया जाएगा। इसका आयोजन मध्य प्रदेश के संस्कृति विभाग और भारत सरकार की संस्था भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद के सहयोग किया जा रहा है। इसमें रामलीला के साथ लोकराग नृत्य, कठपुतली प्रदर्शन, स्वाद व्यंजन मेला का आयोजन भी होगा।
श्रीरामकथा के विविध प्रसंगों एकाग्र सात दिवसीय इस अन्तरराष्ट्रीय श्रीरामलीला उत्सव का आयोजन रवींद्र भवन मुक्ताकाश मंच एवं परिसर पर किया जा रहा है। प्रमुख सचिव संस्कृति और पर्यटन शिवशेखर शुक्ला, संचालक, संस्कृति अदिति कुमार त्रिपाठी ने इस आयोजन की जानकारी देते हुए मीडिया को बताया कि पहली बार देश-विदेश में प्रचलित श्रीरामकथा के विविध कला रूपों का प्रदर्शन हो रहा है। लीलाओं का मंचन प्रतिदिन सायं 6.30 बजे से होगा।
पहली बार श्रीहनुमान चालीसा पर आधारित चित्र प्रदर्शनी
उत्सव अंतर्गत पहली बार श्री हनुमान चालीसा आधारित “संकटमोचन” चित्र प्रदर्शनी का संयोजन किया जा रहा है। श्रीरामकथा में सबसे प्रमुख चरित्र के रूप में संत कवि गोस्वामी तुलसीदास जी ने श्रीहनुमान का वर्णन किया है। भक्ति की पराकाष्ठा का अनुभव श्रीरामचरित मानस में श्रीहनुमान द्वारा भगवान श्रीराम के माध्यम से अभिव्यक्त किया गया है। श्रीहनुमान प्रत्येक भक्त के लिये ‘संकट मोचक’ के रूप में अपना आशीष व्यक्त करते हैं। श्रीहनुमान के इस महान चरित को पहली बार चित्रात्मक रूप से अभिव्यक्त करने का कार्य मध्यप्रदेश शासन, संस्कृति विभाग द्वारा किया गया है। चित्र सृजन का कार्य ख्यात चित्रकार श्री सुनील विश्वकर्मा-वाराणसी के द्वारा किया गया है। श्री विश्वकर्मा की विशिष्टता भारतीय आध्यात्मिक चरितों को पूर्ण सुचिमा के साथ अभिव्यक्त करने की रही है। श्रीहनुमान कथा की चौपाइयों और दोहों को 40 चित्रों में समेटा गया है। इन सभी चित्रों को पहली बार ‘संकट मोचन’ प्रदर्शनी के माध्यम से रवीन्द्र भवन परिसर में प्रदर्शित किया जा रहा है।
दीपोत्सव मेला में 175 से ज्यादा शिल्पी आएंगे
दीपावली के अवसर पर दीपोत्सव मेला अंतर्गत 175 से अधिक शिल्पी विविध माध्यमों के शिल्प एवं वस्त्रों, बांस, लोहा, पीतल, तांबा एवं अन्य धातु से बने उत्पादों का प्रदर्शन और विक्रय करेंगे। शिल्प मेले में भील एवं गोण्ड जनजातीय समुदाय के चित्रकार भी हिस्सेदारी कर रहे हैं। साथ ही स्वाद- व्यंजन मेला में 09 व्यंजनकार बघेली, बुंदेली, राजस्थानी, मराठी, सिंधी एवं जनजातीय समुदाय के व्यंजन उपलब्ध रहेंगे। लोकराग के अंतर्गत नृत्य, गायन एवं कठपुतली प्रदर्शन की गतिविधियाँ प्रतिदिन दोपहर 2 बजे से रवींद्र भवन परिसर में आयोजित की जायेंगी। कार्यक्रम में प्रवेश निःशुल्क है एवं आप सादर आमंत्रित हैं।
सात दिवसीय उत्सव में किस दिन क्या
16 अक्टूबरः अवध आदर्श रामलीला मण्डल अयोध्या (उत्तरप्रदेश) द्वारा शिव-पार्वती संवाद, विश्वमोविनी स्वयंवर, श्रीराम जन्म एवं ताड़का-सुबाहू वध प्रसंग
17 अक्टूबरः नाटक कला मंदिर ग्रुप- श्रीलंका के कलाकारों द्वारा श्रीराम- रावण काव्यम् एवं सुश्री मीरादास एवं साथी, भुवनेश्वर (उड़ीसा) द्वारा श्रीराम प्रेमभक्ति कथाः ओडिशा नृत्य
18 अक्टूबरः लास्या आर्ट्स अकादमी (मलेशिया) द्वारा रामायणम् तथा डॉ. लता सिंह मुंशी एवं साथी भोपाल द्वारा श्रीरामकथाः भरतनाट्यम नृत्य
19 अक्टूबरः खोन रामायण ग्रुप, थाइलैंड द्वारा श्रीरामकथा, उत्तर कमलाबाड़ी सत्र शंकरदेव क्रिस्टी संघ, माजुली (असम) द्वारा पुष्पवाटिका, धनुष यज्ञ, सीता स्वयंवर प्रसंग
20 अक्टूबरः श्रीरामलीला मंडल, उड्डुपी (कर्नाटक) द्वारा वनगमन, सीताहरण, जटायु प्रसंग
21 अक्टूबरः हिन्दू प्रचार केंद्र, त्रिनिदाद एंड टोबैगो के कलाकार द्वारा श्रीरामकथा, श्रीरघुनाथजी लीला प्रचार समिति, पुरी (उड़ीसा) द्वारा श्रीराम-सुग्रीव मित्रता, हनुमान-रावण संवाद एवं लंका दहन प्रसंग की प्रस्तुति दी जायेगी।
22 अक्टूबरः श्री सत्संग रामायण ग्रुप, फिजी द्वारा श्रीरामकथा एवं श्री आदर्श रामलीला मंडल, सतना (म.प्र) द्वारा लक्ष्मण शक्ति, मेघनाथ-रावण वध एवं श्रीराम राज्याभिषेक प्रसंग मंचित करेंगे।
लोकराग के अंतर्गत नृत्य, गायन एवं कठपुतली प्रदर्शन अंतर्गत दोपहर की प्रस्तुतियाँ
17 अक्टूबरः सुश्री उमा सक्सेना एवं साथी, भोपाल द्वारा बुन्देली गीतों में श्रीराम एवं श्री लीलाधर रैकवार एवं साथी, सागर द्वारा ढिमरियाई नृत्य प्रस्तुति
18 अक्टूबरः सुश्री शीला त्रिपाठी एवं साथी, भोपाल द्वारा बघेली गीतों में श्रीराम एवं श्री घूमन पटेल एवं साथी, दमोह द्वारा कानड़ा नृत्य प्रस्तुति
19 अक्टूबरः सुश्री संदीपा पारे एवं साथी, भोपाल द्वारा निमाड़ी गीतों में श्रीराम एवं श्री दिलीप मासूम एवं साथी, भोपाल द्वारा कठपुतली प्रस्तुति
20 अक्टूबरः सुश्री लता व्यास एवं साथी, भोपाल द्वारा मालवी गीतों में श्रीराम एवं श्री गणपत सखराम मसगे, महाराष्ट्र द्वारा कठपुतली प्रस्तुति
21 अक्टूबरः अभिषेक निगम एवं साथी, उज्जैन द्वारा भक्ति गायन एवं श्री मनीष यादव एवं साथी सागर द्वारा बरेदी नृत्य प्रस्तुति
22 अक्टूबरः रूद्रकांत ठाकुर एवं साथी, सिवनी द्वारा भक्ति गायन एवं सुश्री श्वेता अग्रवाल एवं साथी रीवा द्वारा अहिराई नृत्य प्रस्तुति
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