विधानसभा की दो महिला सदस्यों को उस समय नापतौल व ट्रैफिक पुलिस के रवैये रूबरू हुए जब वे ऑटो की सवारी कर रही थीं। महिला सवारी होने के बाद भी नापतौल वाले कर्मचारी ने मीटर चैकिंग के नाम पर गाड़ी रोक कर उसमें प्रवेश किया और जब महिलाओं ने आपत्ति की तो ट्रैफिक पुलिसकर्मी उसकी मदद के लिए आ गया। यहां तक दोनों महकमों के सरकारी मुलाजिम का रौब देखने लायक था लेकिन जैसे दोनों महिलाओं ने अपना परिचय दिया तो उनके चेहरे सफेद हो गए और बिना किसी तू-तू मैं-मैं के वे इधर-उधर हो गए।
मामला पुलिस कंट्रोल रूम के पास तिराहे का है। यहां बीजेपी की दो महिला विधायक प्रतिभा सिंह तथा नंदनी मरावी जिस ऑटो में बैठी थी उसे नापतौल के एक कर्मचारी ने रोक लिया। वे पुलिस मुख्यालय से आ रही थीं और विधानसभा सचिवालय में मीटिंग के लिए जा रही थीं। नापतौल कर्मचारी ने महिला सवारी होने के बाद भी मीटर चैकिंग के लिए शालीन ढंग से झांकने और चैक करने का ध्यान नहीं रखा। जब महिलाओं ने आपत्ति की तो वहीं खड़ा ट्रैफिक पुलिस का एक जवान भी आ गया। वह भी नापतौल कर्माचारी की तरफ से बात करने लगा।
दोनों सरकारी अमले के कर्मचारी ऑटो वाले से बड़ी ही अभद्रता के साथ बात कर रहे थे। उनका यह रवैया कुछ पल में ही बदल गया क्योंकि ऑटो की सवारियों ने अपने आपको विधायक बताते हुए उन्हें शालीनता से बात करने को कहा। उनके विधायक कहते ही दोनों सरकारी मुलाजिम के न केवल स्वर बदल गए बल्कि वे वहां से घिसकने के बहाने तलाशते हुए चले गए। मगर महिला विधायक कहां चुप रहने वाली थीं, उन्होंने तुरंत पुलिस कंट्रोल रूम की तरफ कदम बढ़ाए और वहां बैठे एक एएसपी से मुलाकात की। पूरी घटना बताई और दोनों सरकारी कर्मचारियों की शिकायत कर दी।
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