शहडोल और उज्जैन में जेल में बंद बंदियों की मौत को लेक राज्य मानव अधिकार आयोग ने जवाब मांगा है। शहडोल में बंदी बीमार था और इस दौरान उसकी मौत हो गई तो उज्जैन में बंदी की मौत पर भी इसी तरह मानव अधिकार आयोग ने जवाब मांगा है।
जिला जेल शहडोल में एक विचाराधीन कैदी की बीते बुधवार को जिला अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई। पुलिस सूत्रों के अनुसार, मृतक कैदी का नाम कोमल यादव, निवासी ग्राम हरदी है। वह हत्या के मामले में न्यायिक अभिरक्षा में था। कुछ दिनों से वह बीमार चल रहा था, जिसकी बुधवार को इलाज के दौरान मौत हो गई। इस मामले में कोतवाली पुलिस ने अपराध कायम कर शव को पोस्टमार्टम के लिये भेज दिया है। मामले की न्यायिक जांच भी प्रारम्भ हो गई है। मामले में मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग ने पुलिस अधीक्षक, शहडोल एवं अधीक्षक, जिला जेल शहडोल से एक माह में जवाब मांगकर पूछा है कि ऐसा कैसे हो गया।
कौन जिम्मेदार है
उज्जैन की केन्द्रीय जेल भैरवगढ़ में दण्डित बन्दी छीतरलाल (45 वर्ष) निवासी किशनपुरा मक्सी रोड उज्जैन की बीते 13 जुलाई को मृत्यु हो गई। बन्दी की मृत्यु की सूचना जिला दण्डाधिकारी, पुलिस अधीक्षक एवं मुख्य न्यायिक दण्डाधिकारी को जेल अधीक्षक द्वारा दे दी गई है। मृत्यु के संबंध में भैरवगढ़ थाने में मर्ग कायम कराया गया है एवं जिला एवं सत्र न्यायाधीश से बन्दी की मृत्यु के संबंध में न्यायिक जांच कराने हेतु कहा गया है। मामले में मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग ने पुलिस अधीक्षक, उज्जैन एवं अधीक्षक, केन्द्रीय जेल, भैरवगढ़ (उज्जैन) से एक माह में जवाब मांगकर पूछा है कि इस घटना के लिये कौन जिम्मेदार है ?
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