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‘कालाय तस्मै नम:” का नाट्य प्रदर्शन

भोपाल के जनजातीय संग्रहालय में शाम को नाटक ”कालाय तस्मै नम:” का मंचन हुआ। संस्कृति संचालनालय द्वारा आयोजित इस श्रृंखला का यह नाटक नीति श्रीवास्तव द्वारा निर्देशित किया गया था।
यह नाटक एक ऐसे भविष्यवक्ता ज्योतिषाचार्य के जीवन एवं उनके परिवार की घ्ाटना से जुड़कर चलता है, जो आने वाले समय में घ्ाटित होने वाले सच को जानकर महत्वपूर्ण निर्णयों से पीछे हट जाते है अथवा सत्य को स्पष्ट न करने के द्वंद्व में अपने उस ज्ञान से ही विरक्त होकर इस कार्य को छोड़ने का निर्णय लेते है। उनका बेटा मन का विवाह करना चाहता है जिसकी अनुमति वे नहीं देते। फलस्वरूप बेटा उनकी भविष्यवाणी का सामना एक दूसरे छल के साथ करना चाहता है। वह अपने ही पिता के मित्र की मंदबुद्धि बेटी से विवाह कर अनिष्ट का सामना करने का विचार बनाता है।
ज्योतिषाचार्य नाना का काल को लेकर कहा जाने वाला आ’त वाक्य कालाय तस्मै नम: इस घटनाक्रम एवं उनके जीवन में स्वयं एक बड़े द्वंद्व के रूप में सामने आता है। अंतत: यह नाटक इस बात की सीख देता है कि सारे अंदेशों एवं अनुमानों से अलग मनुष्य का विवेक और उसकी आंतरिक दृढ़ता सबसे बड़ी है और वही अनेक अंदेशों और अनिष्ट अनुमानों का उत्तर भी। नाटक के निर्देशक सुश्री नीति श्रीवास्तव ने एक मराठी कृति से प्रेरित होकर इस नाटक को मंच पर लाने का काम किया। राजीव वर्मा, रीता वर्मा, संजय श्रीवास्तव, अखिलेश जैन जैसे अनुभवसाध्य एवं मंजे हुए कलाकारों से यह नाटक प्रभावीढंग से मंच पर प्रस्तुत होता है।
आज इस नाटक का रसास्वादन करने वरिष्ठ अभिनेत्री एवं भोपाल मूल की कलाकार जया बच्चन भी पधारीं एवं उन्होंने पूरा नाटक देखा। नाटक सम्पन्न् होने के बाद संस्कृति विभाग की ओर से उप संचालक श्रीमती वंदना पाण्डेय द्वारा उनका स्वागत किया गया। कलाकारों को भ्ाी पुष्पगुच्छ भेंटकर उनका अभिनंदन किया गया। आरंभ में विभाग ने कलाकारों तथा सभागार में उपस्थित दर्शकों के साथ विख्यात अभिनेता स्व। ओमपुरी के निधन पर दो मिनट का मौन धारण कर श्रृद्धांजलि भी अर्पित की।
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