राजधानी के भारत टॉकीज रेलवे ओवरब्रिज को चालीस साल हो गए और उसकी कई सालों से जर्जर हालत के कारण आम आदमी को ही लगता था कि कभी कोई बड़ा हादसा न हो जाए लेकिन मरम्मत की एजेंसियों ने इस तरफ ध्यान नहीं दिया। सोमवार की रात इसके रेलवे स्टेशन वाले हिस्से का स्लैब भरभराकर गिर गया और गहरी नींद में सोई एक मजदूर दंपति की मौत हो गई।
भारत टॉकीज रेलवे ओवरब्रिज के नीचे छिंदवाड़ा के परासिया की रहने वाली दंपति हनुमान और पार्वती रहते थे। ये लोग करीब एक महीने से यहां रह रहे थे। रात को पुल का स्लैब गिरने से हनुमान और पार्वती उसके नीचे दब गए जिससे दोनों की मौत हो गई।
इस घटना के बाद पीडब्ल्यूडी और नगर निगम के बीच जिम्मेदारी को लेकर टालमटोल भरा रवैया दिखाई दिया। जहां पीडब्ल्यूडी मंत्री सरताज सिंह ने घटनास्थल का निरीक्षण किया और इसकी मरम्मत को लेकर वहां उन्होंने कहा कि विभाग ने पहले ही नगर निगम को इस बारे में पत्र लिख दिया था। यानि इसके लिए उन्होंने एक तरह से नगर निगम को जिम्मेदार बताया। हालांकि मंत्री जी ने मृतकों के परिजनों को एक लाख रुपए का मुआवजा देने का ऐलान जरूर कर दिया। वहीं नगर निगम के महापौर आलोक शर्मा ने कहा कि पुल की मरम्मत का जिम्मा लोक निर्माण विभाग का था।
कांग्रेस ने मंत्री का बंगला घेरा
वहीं युवा कांग्रेस ने घटना के बाद आज पीडब्ल्यूडी मंत्री सरताज सिंह के बंगले का घेराव कर अपनी राजनीतिक रोटियां सेंकी। मंत्री के बंगले के बाहर सरताज सिंह से इस्तीफे की मांग की।
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