व्यापमं घोटाले में सीबीआई की विशेष अदालत ने मध्य प्रदेश पुलिस भर्ती 2013 के पांच इंजन-दो बोगी यानी तीन मुख्य परीक्षार्थियों व दो उनकी जगह पर परीक्षा देने वालों को दोषी पाया गया। मगर तीन मुख्य परीक्षार्थी की अनुपस्थिति पर दोनों प्रतिरूपकों को सात-सात साल के कठोर कारावास और दस हजार रुपए का जुर्माना किया गया। तीनों मुख्य परीक्षार्थियों को अदालत ने फरार घोषित कर दिया है।
सीबीआई के विशेष न्यायाधीश नीतिराज सिंह सिसोदिया ने व्यापमं घोटाले के मध्य प्रदेश पुलिस भर्ती परीक्षा 2013 में मुख्य परीक्षार्थियों जितेंद्र सिंह सेंगर, सत्येंद्र सिंह सेंगर व केशव सिंह वडेरिया और उनके स्थान पर परीक्षा देने वाले प्रतिरूपक अमित आलोक और सतीश कुमार मौर्य को दोषी माना है। आज फैसला सुनाए जाने के वक्त तीनों मुख्य परीक्षार्थी अनुपस्थित रहे।
अमित आलोक-सतीश को सजा
मामले के मुताबिक जितेंद्र सिंह सेंगर, सत्येंद्र सिंह सेंगर व केशव सिंह वडेरिया ने अपनी जगह अमित आलोक, सतीश कुमार मौर्य व एक अन्य को पुलिस आरक्षक भर्ती की परीक्षा में परीक्षा देने बैठाया था। इसकी जांच में सीबीआई को तीसरे प्रतिरूपक का पता नहीं चला। अदालत ने अन्य सभी पांचों को दोषी मानते हुए सजा सुनाई लेकिन मुख्य परीक्षार्थी अदालत में उपस्थित नहीं हुए तो उन्हें फरार भी घोषित कर दिया। उनके गिरफ्तारी वारंट जारी किए गए हैं।
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